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सूरत । आम आदमी पार्टी (आप) ने निर्वाचन अधिकारियों से नीलेश कुम्भाणी के खिलाफ मामला दर्ज करने का बुधवार को अनुरोध किया है, जिनका सूरत लोकसभा क्षेत्र से कांग्रेस उम्मीदवार के तौर पर दाखिल नामांकन पत्र को प्रस्तावकों के हस्ताक्षर में कथित विसंगतियों के कारण हाल ही में खारिज कर दिया गया था। कुम्भाणी का नामांकन खारिज होने के बाद इस सीट से भाजपा के उम्मीदवार मुकेश दलाल को विजयी घोषित कर दिया गया था।
‘आप’ नेता रजनीकांत वाघानी ने मांग की कि या तो कुम्भाणी के खिलाफ जालसाजी के आरोप में मामला दर्ज किया जाए या उनके प्रस्तावकों पर हलफनामों में झूठी जानकारी देने के लिए मामला दर्ज हो। विपक्षी दलों के गठबंधन ‘इंडिया’ में ‘आप’ और कांग्रेस शामिल हैं। सीट-बंटवारे के समझौते के अनुसार ‘आप’ ने सूरत से कोई उम्मीदवार नहीं उतारा। बुधवार को सूरत के कलेक्टर और जिला निर्वाचन अधिकारी सौरभ पारधी को लिखे पत्र में वाघानी ने पारधी के 21 अप्रैल के आदेश का हवाला दिया, जिसमें उन्होंने कुम्भाणी के नामांकन को यह कहते हुए खारिज कर दिया था कि फॉर्म में प्रस्तावकों के हस्ताक्षर में विसंगति थीं और वे वास्तविक नहीं लगे।
वाघानी ने पत्र में कहा, अगर कुम्भाणी ने अपने प्रस्तावकों के जाली हस्ताक्षर किए हैं, तो उन पर भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 464, 465 और 568 के तहत जालसाजी व झूठे दस्तावेज बनाने के आरोप में मामला दर्ज किया जाना चाहिए। यदि प्रस्तावकों ने हलफनामों में झूठ बोला तो उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 191, 192 और 200 के तहत मामला दर्ज किया जाना चाहिए।