राजस्थान विधानसभा अध्यक्ष सी पी जोशी को बृहस्पतिवार को विधायक गुलाब चंद कटारिया ने विधायक पद से अपना त्यागपत्र सौंपा।
उल्लेखनीय है कि कटारिया (78) को असम के राज्यपाल के लिए मनोनीत किया गया है। कटारिया आठ बार विधायक रह चुके हैं। उन्होंने उदयपुर विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया।
कटारिया के इस्तीफे से 200 सदस्यीय सदन में विधायकों की संख्या घटकर 199 रह गई है। राजस्थान में इस वर्ष के अंत में विधानसभा चुनाव होंगे।
विधानसभा में आयोजित विदाई समारोह में असम के मनोनीत राज्यपाल कटारिया को साफा पहनाकर मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने अभिनंदन किया और विधानसभा अध्यक्ष जोशी ने उन्हें स्मृति चिह्न भेंट किया।
जोशी ने कहा कि संविधान में राज्यपाल की भूमिका बहुत स्पष्ट है और इस भूमिका के साथ बड़ी जिम्मेदारी होती है कि जो संवेधानिक अपेक्षाएं हैं उन अपेक्षाओं को पूरा किया जाए। उन्होंने कहा, ‘‘कटारिया के साथ हमारे अनुभव अच्छे भी रहे और कड़े भी रहे हैं। चार साल में विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष के रूप में गरिमा पूर्ण कार्य करने में कटारिया की महत्वपूर्ण भूमिका रही।’’
जोशी ने कटारिया के स्वस्थ्य जीवन की कामना करते हुए उम्मीद जताई ‘‘वह संवैधानिक पद संभालते हुए इसे और ऊचांईयां प्राप्त करेंगे।’’
इस अवसर पर गहलोत ने कहा, ‘‘मैं उम्मीद करता हूं कि कटारिया असम में राज्यपाल के रूप में, संविधान में जो अधिकार दिये गये है उनकोलागू करेंगे और राजस्थान का मान-सम्मान कायम रखेंगे।’’
विदाई समारोह में प्रतिपक्ष के उप नेता राजेन्द्र राठौड़, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के बलवाल पूनिया, राष्ट्रीय लोकतंत्र पार्टी के पुखराज, भारतीय ट्राइबल पार्टी के राम प्रसाद और निर्दलीय विधायक संयम लोढा ने भी अपने विचार व्यक्त किये और कटारिया के उज्जवल भविष्य की कामना की।