नॉर्थ कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन रूस पहुंच चुके हैं। चार साल में किम का ये पहला विदेश दौरा है और इसके लिए उन्होंने रूस को चुना है। कहा जा रहा है कि किम और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की मुलाकात किसी खुफिया जगह पर हो सकती है। किम के लिए पुतिन ने डिनर का भी आयोजन किया है। नॉर्थ कोरिया के तानाशाह किम के रूस दौरे से मन में सवाल आना लाजिमी है कि आखिर उनके इस दौरे का मकसद क्या है?
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किन मुद्दों पर होगी बात
व्हाइट हाउस की नेशनल सिक्योरिटी काउंसिल की प्रवक्ता एड्रियेन वॉटसन ने कुछ दिन पहले ही इस बारे में जानकारी दी थी। वॉटसन ने जानकारी देते हुए बताया था कि पुतिन और जोंग के बीच एक अहम विषय पर मीटिंग होगी। ये मीटिंग नॉर्थ कोरिया के रूस को हथियारों की सप्लाई को लेकर होगी। पिछले काफी वक्त से दोनों देशों के बीच इसको लेकर बाचतीच भी चल रही है। रूस और यूक्रेन के बीच चल रहे युद्ध को करीब डेढ़ बरस गुजर चुके हैं। युद्ध के इतने लंबे समय से चलने की वजह से रूस के पास हथियारों की कमी हो रही है। यूक्रेन को अमेरिका और कुछ अन्य देशों की तरफ से लगातार सपोर्ट मिल रहा है और इस वजह से रूस को ज्यादा जोर लगाना पड़ रहा है। रूस को नए हथियारों की दरकार है। ऐसे में वो नॉर्थ कोरिया की मदद से अपने हथियारों के जखीरे को बढ़ाना चाहता है।
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हथियारों के बदले क्या मांग सकते हैं किम
नॉर्थ कोरिया हथियारों के बदले रूस से टेक्नोलॉजी मांग सकता है। अगले महीने होने वाली पुतिन जिनपिंग की मुलाकात से पहले गठजोड़ बनाने की कोशिश होगी। इसके अलावा नॉर्थ कोरिया खाद्य सहायता भी मांग सकता है। दरअसल, नॉर्थ कोरिया में अनाज की काफी किल्लत है।