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Enlarged Prostate: पुरुषों में ऐसे लक्षण दिखने पर हो सकता है प्रोस्टेट का खतरा, इन बातों का रखें खास ख्याल

पुरुषों में प्रोस्टेट होने वाली बहुत कॉमन बीमारी है। 50 साल से ज्यादा आयु वाले पुरुषों में इस बीमारी का अधिक खतरा हो सकता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स की मानें, तो 60 साल की आयु तक आधे से ज्यादा पुरुषों में बढ़े हुए प्रोस्टेट की दिक्कत हो सकती है। इस रोग को बिनाइन प्रोस्टेटिक हाइपरप्लासिया के नाम से भी जाना जाता है। वहीं 80 साल की उम्र तक जाते-जाते यह अनुपात 90 फीसदी पहुंच जाता है।
 
हांलाकि इससे प्रोस्टेट कैंसर या यौन समस्याएं होने का ज्यादा खतरा नहीं होता है, लेकिन यह जीवन की गुणवत्ता को जरूर प्रभावित कर सकती है। वहीं अगर इस समस्या पर ध्यान न दिया जाए, तो इसके जानलेवा दुष्प्रभाव नजर आ सकते हैं। ऐसे में इन लक्षणों पर ध्यान रखने और होने वाले खतरे को लेकर सावधानी बरतना सभी के लिए जरूरी होता है।

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प्रोस्टेट की समस्या
आपको बता दें कि पुरुषों में अखरोट के आकार का एक अंग होता है। जो मूत्राशय के नीचे होता है। इसका मुख्य कार्य आपके वीर्य में तरल पदार्थ बनाने और वीर्य को मूत्रमार्ग के जरिए से बलपूर्वक रिलीज करना है। वहीं उम्र बढ़ने के साथ प्रोस्टेट का आकार बढ़ने का खतरा होता है। ऐसे में ज्यादा लंबे समय तक यह दिक्कत बनी रहने पर यह स्थिति गंभीर रोगकारक बन सकती है।
क्योंकि प्रोस्टेट का बढ़ना धीरे-धीरे होता है और इसमें पेशाब में समस्या होती रहती है। वहीं पुरुष सोचते हैं कि बार-बार बाथरूम जाना बढ़ती उम्र का स्वाभाविक हिस्सा है। लेकिन लंबे समय तक यह दिक्कत बने रहने पर प्रोस्टेट की जांच कराना जरूरी होता है। 
लक्षण
पेशाब में अधिक जोर लगाना
पेशाब करने में कठिनाई होना
बार-बार पेशान जाना
मूत्र का रिसाव होना
मूत्र प्रवाह का कम होना
पेशाब की समस्या
हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक पेशाब पर कंट्रोल न होना बढ़े हुए प्रोस्टेट की समस्या का संकेत हो सकता है। वहीं अचानक से पेशाब महसूस होने पर पेशाब का रिसाव हो सकता है। कुछ लोगों को छींकने, खांसने या फिर भारी सामान उठाने पर इस तरह की समस्या हो सकती है। कुछ समय तक यह समस्या हो रही है, तो समय रहते एक्सपर्ट्स की सलाह जरूर लें। 
ऐसे करें बचाव
अपनी डाइट और लाइफस्टाइल को ठीक रखकर प्रोस्टेट की समस्या के जोखिमों को कम किया जा सकता है। जैसे रोजाना व्यायाम, फल-सब्जियों का अधिक सेवन, वेट कम करना और आहार में वसा की मात्रा को कंट्रोल करने से आप बीपीएच की समस्या से बचाव कर सकते हैं। इस तरह की हेल्दी लाइफस्टाइल की आदतें आपको प्रोस्टेट की समस्या से बचाती हैं।

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