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Accident के बाद Rishabh Pant की ऐसी बची थी जान, खून से लथपथ थी हालत

भारतीय टीम के युवा खिलाड़ी ऋषभ पंत का दिल्ली से रूड़की जाते समय एक्सीडेंट हो गया। हादसे के बाद पंत को विंड स्क्रीन तोड़कर बाहर निकलना पड़ा। ये हादसा इतना भीषण था कि इसमें उनकी जान बाल बाल बची है। इस एक्सीडेंट के तत्काल बाद ही ऋषभ पंत की गाड़ी में भी आग लग गई थी। अगर समय रहते ऋषभ गाड़ी से बाहर ना निकलते तो हादसा काफी गंभीर हो सकता था।

वहीं हादसे के बाद ऋषभ पंत के पास सबसे पहले एक बस ड्राइवर सुशील कुमार पहुंचे थे। उन्होंने ऋषभ पंत को एंबुलेंस बुलवाकर अस्पताल भिजवाया था। सुशील ने बताया कि खुद ऋषभ पंत ने बताया था कि वो क्रिकेटर है। उनकी कार दुर्घटना का शिकार हो गई थी। सुशील कुमार ने बताया कि वो हरियाणा रोडवेज के ड्राइवर है। हरिद्वार से आते समय जब उनकी बस नारसम के पास पहुंची तो 200 मीटर पहले दिल्ली की तरफ से आई एक कार 60-70 की स्पीड में डिवाइडर से टकरा गई।

इस टक्कर के बाद उनकी गाड़ी दूसरी लेन में यानी हरिद्वार वाली लाइन पर आ गई थी। जैसे ही गाड़ी हरिद्वार की लाइन पर आई हमारी बस से उसका फांसला सिर्फ 50 मीटर का रह गया था। मैंने तत्काल ब्रेक लगाया और खिड़की की तरफ से कूदकर गाड़ी के पास पहुंचा।

पंत ने नहीं पहने थे कपड़े
सुशील ने बताया कि गाड़ी के बाहर देखा तो एक आदमी था, मुझे लगा वो नहीं बचेगा। कार में से तब तक चिंगारियां निकलने लगी थी। उन्हें तत्काल उठाकर कार से दूर किया। उसने बताया कि वो क्रिकेटर ऋषभ पंत है। उसने कपड़े नहीं पहने थे तो मैंने अपनी चादर में उसको लपेटा। इसी बीच कंडक्टर ने एंबुलेंस को फोन किया। पुलिस को भी फोन कर घटना की जानकारी दी गई। सुशील के मुताबिक फोन करने के 15-20 मिनट में एंबुलेंस आई थी। इसी एंबुलेंस में बैठाकर उन्हें अस्पताल ले जाया गया। वो खून से लथपथ थे। हादसे के बाद वो लंगड़ाकर चल रहा था।

अस्पताल में जारी है इलाज
पंत का इलाज इस समय देहरादून के मैक्स अस्पताल में जारी है। इस अस्पताल में उनकी मां भी उनके साथ है। जानकारी के मुताबिक पंत के सिर और घुटने में गंभीर चोट लगी है। अस्पताल में ऋषभ का एमआरआई किया गया है। उनके पीठ और पैर में भी चोट आई है। पंत का एक्सीडेंट रूड़की के पास मोहम्मदपुर जाट एरिया में हुआ था। घटना लगभग तड़के 5.30 बजे की है। 

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