शिरोमणि अकाली दल के प्रमुख सुखबीर सिंह बादल ने बृहस्पतिवार को आरोप लगाया कि पंजाब की आम आदमी पार्टी (आप) सरकार भारी बिजली कटौती करके किसानों की मुसीबतें बढ़ा रही है, जिससे धान और सब्जियों की खड़ी फसल को खतरा पैदा हो गया है।
बादल ने आरोप लगाया कि हाल की बाढ़ के दौरान नष्ट हुई धान की फसल के लिए किसानों को मुआवजा जारी करने में विफल रहने के बाद, ‘आप’सरकार अब बिजली कटौती करके कृषकों की परेशानी बढ़ा रही है।
बादल ने एक बयान में कहा, राज्य के किसानों की दुर्दशा के प्रति मुख्यमंत्री भगवंत मान की उदासीनता ने सभी हदें पार कर दी हैं।”
बादल ने कहा कि मुक्तसर, फाजिल्का और फिरोजपुर जिलों में किसान 18 से 24 घंटों की बिजली कटौती की शिकायत कर रहे हैं और इस वजह से उनकी धान और सब्जियों की फसलें बर्बाद हो रही हैं।
बादल ने दावा किया, “ जिलों में 700 से अधिक लिफ्ट सिंचाई पंपों को जबरन बंद करने की कोशिशों से स्थिति और खराब हो गई है। किसानों को एक सप्ताह के अंतराल पर लिफ्ट पंप चलाने के लिए मजबूर किया जा रहा है अन्यथा उन्हें अपने खिलाफ मामलों का सामना करना पड़ रहा है।”
बादल ने दावा किया कि राज्य की ‘आप’ सरकार ने हाल की बाढ़ के दौरान हरिके पतन के अधिक पानी को राजस्थान की नहरों में भेजने की बजाए पंजाब के गांव में छोड़ा था लेकिन अब उसने राजस्थान में पानी की आपूर्ति बढ़ा दी है जहां साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने हैं।
उन्होंने कहा, “ पंजाब में किसानों के लिफ्ट सिंचाई पंपों को जबरन बंद करने का उद्देश्य नहर में पानी की उपलब्धता को कृत्रिम रूप से बढ़ाना भी है ताकि राजस्थान के हिस्से में और वृद्धि हो सके और इससे ‘आप’ चुनाव में फायदा उठा सके।”
बादल ने कहा कि ऐसी नीतियों के कारण नहरों के अंतिम छोर पर पानी कम हो गया हैजिससे पंजाब में किसानों की तकलीफें और बढ़ गई हैं।
पंजाब के पूर्व उपमुख्यमंत्री बादल ने यह भी दावा किया कि राज्य के शहरी इलाकों और औद्योगिक क्षेत्रों में भी बिजली की कटौती की जा रही है।
उन्होंने कहा, ऐसी स्थिति पैदा हो गई है जहां लोगों को जनरेटर पर वापस जाने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि इन सबका राज्य की अर्थव्यवस्था पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा।