श्रीनगर। निर्वाचन आयोग द्वारा लोकसभा चुनाव की घोषणा के 24 घंटे के भीतर ही भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने श्रीनगर लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र में प्रचार अभियान शुरू कर दिया है, यद्यपि श्रीनगर लोकसभा सीट उन 400 सीट में शामिल नहीं है जिस पर भाजपा को जीत का भरोसा है। इसके बावजूद बदलाव की उम्मीद में पार्टी ने श्रीनगर जिले के ‘क्लस्टर’ और बूथ प्रमुखों की बैठक की।
भाजपा की जम्मू-कश्मीर इकाई के वरिष्ठ नेता सुरिंदर अंबरदार ने जवाहर नगर नगरपालिका पार्क में रविवार को आयोजित कार्यकर्ताओं की एक रैली में कहा कि पार्टी ने प्रभावी चुनाव अभियान के लिए दो से तीन बूथ वाले क्लस्टर बनाए हैं। सुरिंदर अंबरदार ने कहा, ‘‘ भाजपा कैडर आधारित संगठन है। यहां तैयारी श्रीनगर जिले के आठ विधानसभा क्षेत्रों के लिए है। हमने ‘क्लस्टर’ की संरचना बनाई है जिसमें दो से तीन बूथ शामिल हैं। यह क्लस्टर प्रमुखों और बूथ प्रमुखों की एक संगठनात्मक बैठक है।’’
जम्मू-कश्मीर विधान परिषद के पूर्व सदस्य अंबरदार ने कहा कि अब जबकिनिर्वाचन आयोग ने लोकसभा चुनाव के कार्यक्रम की घोषणा कर दी है, पार्टी अपने चुनावचिह्न, विचारधारा और प्रदर्शन कार्ड के साथ मतदाताओं के पास जाएगी। उन्होंने कहा, ‘‘ भाजपा अपनी विचारधारा और प्रदर्शन के आधार पर चुनाव लड़ती है। उम्मीदवार महत्वपूर्ण है लेकिन संगठन श्रेष्ठ है। हमें अपना चुनाव चिह्न कमल लोगों के पास ले जाना है ताकि वे हमें वोट दें।’’
यह पूछे जाने पर कि क्या भाजपा अपने चुनाव अभियान के चेहरे के रूप में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर भरोसा कर रही है, अंबरदार ने कहा कि प्रधानमंत्री जी इससे कहीं अधिक हैं। उन्होंने कहा, ‘‘ नरेन्द्र मोदी सिर्फ इस चुनाव अभियान का चेहरा नहीं हैं, वह एक मशहूर शख्सियत, एक वैश्विक नेता और ‘गेम चेंजर’ हैं। श्रीनगर सीट उन 400 सीट में शामिल नहीं है जिस पर भाजपा को जीत का भरोसा है। हम यहां इस आंकड़े को 401 पर ले जाने के लिए प्रयासरत हैं।’’
श्रीनगर लोकसभा सीट परंपरागत रूप से नेशनल कॉन्फ्रेंस (नेकां) का गढ़ रही है और यह क्षेत्रीय पार्टी यहां से केवल एक बार 2014 में हारी है। पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) के उम्मीदवार तारिक हामिद कर्रा ने 2014 में फारूक अब्दुल्ला को हराया था। तारिक इसके बाद कांग्रेस में शामिल हो गए थे।