Breaking News
-
Please LIKE and FOLLOW बलिया LIVE on FACEBOOK page https://www.facebook.com/BalliaLIVE रसड़ा तहसील परिसर में…
-
Please LIKE and FOLLOW बलिया LIVE on FACEBOOK page https://www.facebook.com/BalliaLIVE आशीष दूबे, बलिया बलिया. जिलाधिकारी…
-
14वीं भारतीय फ्रांस सीईओ बैठक में बोलते हुए विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा…
-
बांग्लादेश में सुरक्षा बलों ने देश भर में भीड़ के हमलों और बर्बरता की घटनाओं…
-
बुधवार, 12 जनवरी को भारत और इंग्लैंड के बीच तीसरा वनडे मैच खेला जाएगा। दोनों…
-
खराब लाइफस्टाइल और गलत खानपान के कारण हेल्थ पर काफी असर पड़ता है। हेल्थ को…
-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी तीन दिवसीय फ्रांस यात्रा के आखिरी चरण में मार्सिले जाएंगे। पीएम…
-
रणजी ट्रॉफी 2025 को दूसरा सेमीफाइनलिस्ट मिल गया है। दरअसल, टूर्नामेंट के क्वार्टर फाइनल 3…
-
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी फ्रांस की राजधानी पेरिस पहुंच चुके हैं। पीएम मोदी फ्रांस में आर्टिफिशियल…
-
भारत विशेष रूप से दिल्ली ने 2020-2021 के किसान आंदोलन के दौरान राजमार्गों पर ट्रैक्टरों…
सहारनपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ शुक्रवार को ग्राउंड जीरो पर उतरकर पश्चिमी उत्तर प्रदेश में बाढ़ के हालात की जानकारी ली। सीएम योगी सबसे पहले कस्बा सुल्तानपुर-चिलकाना के मंडी परिसर में पहुंचे और वहां मौजूद बाढ़ पीड़ितों में राहत सामग्री एवं सहायता राशि वितरित की। उन्होंने अधिकारियों को बाढ़ पीड़ितों की हर संभव मदद करने के लिए निर्देशित किया। साथ ही बाढ़ पीड़ितों को आश्वस्त किया कि सरकार हर प्रकार से आपके साथ है। मुख्यमंत्री ने इसके बाद जीवी जैन डिग्री कॉजेल में स्थित बाढ़ राहत शिविर का भी दौरा किया और बाढ़ पीड़ितों से बातचीत की। सीएम योगी ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि शनिवार को सहारनपुर में कांवड़ियों पर हेलीकॉप्टर से पुष्पवर्षा की जाए। उन्होंने बताया कि आज मेरठ, मुजफ्फरनगर और शामली में कांवड़ियों पर पुष्पवर्षा की गयी है। सरकार बाढ़ पीड़ितों की सहायता के साथ ही आस्था का सम्मान करने के लिए भी कटिबद्ध है। कांवड़ियों की सुरक्षा और सुविधा का ध्यान रखने के लिए सीएम ने अफसरों को निर्देशित किया।
फसलों को हुए नुकसान का होगा सर्वे, सरकार देगी आर्थिक सहायता
मुख्यमंत्री ने बाढ़ पीड़ितों से बातचीत में कहा कि इस आपदा के समय में आपके सामने किसी भी प्रकार की कमी सरकार नहीं आने देगी। जिन किसानों की फसलों का नुकसान हुआ है, हम उसका सर्वे कराएंगे और तुरंत आर्थिक सहायता देंगे। मुख्यमंत्री ने कहा कि नदियों के कटान के से जिन खेतों को नुकसान हुआ है उसे बाढ़ उतरने के साथ ही ठीक कराने का कार्य किया जाएगा। बाढ़ पीड़ितों और आपदा की चपेट में आने वाले लोगों के लिए राहत शिविर लगाये गये हैं। सरकार बाढ़ पीड़ितों के भोजन, स्वास्थ्य और शुद्ध पेयजल की व्यवस्था कर रही है। इस आपदा से आपको शीघ्र राहत मिले इसकी कामना करता हूं और आश्वस्त करता हूं कि सरकार हर वक्त आपके साथ है। हमारे जन प्रतिनिधि और सरकारी अधिकारी कर्मचारी आपकी मदद के लिए यहां हमेशा मौजूद रहेंगे।
पौने तीन लाख की आबादी प्रभावित
मीडिया से बातचीत में मुख्यमंत्री ने बताया कि पश्चिमी यूपी के कुछ जनपदों में बाढ़ और जल जमाव के मामले सामने आये हैं। यमुना, हिंडन, धनोला और पांवधोनी नदियों में बाढ़ और जलजमाव का आज हवाई और जमीनी निरीक्षण किया गया है। सहारनपुर शहर के 28 मोहल्ले और ग्रामीण इलाकों के 118 गांव की कुल पौने तीन लाख की आबादी प्रभावित हुई है। इसके अलावा 13 हजार एकड़ कृषि भूमि बाढ़ की चपेट में आई है। इस आपदा में सात जनहानि और तीन पशुहानि भी हुई है। प्रशासन और जनप्रतिनिधियों के साथ विस्तृत चर्चा हुई है। इसके अलावा जो मकान क्षतिग्रस्त हुए हैं उनके लिए मुआवजा और तिरपाल की व्यवस्था की गई है। सभी संबंधित विभागों को भी अलर्ट कर दिया गया है।
पांवधोई और ढमोला नदी उफान पर, राहत शिविरों में शिफ्ट किये गये बाढ़ पीड़ित
बता दें कि सहारनपुर शहर के बीचो-बीच से बहने वाली पांवधोई और ढमोला नदीं उफान पर आ गई। जिसके बाद प्रशासन की ओर से तत्काल कंट्रोल रूम बनाया गया और एनडीआरएफ की टीमों ने लोगों को रेस्क्यू किया। इस दौरान लोगों के घरों में पानी चला गया था। इन पीड़ितों को राहत शिविरों में शिफ्ट किया गया है। एक शिविर आवास विकास कालोनी में जेवी जैन डिग्री कॉलेज में बनाया गया है। जहां पहुंचकर मुख्यमंत्री बाढ़ पीड़ितों से मुलाकात की।
सुबह नाश्ते से लेकर डिनर तक की व्यवस्था सुनिश्चित करें अफसर
इसके पश्चात सीएम योगी ने पुलिस लाइन सभागार में जिले के जनप्रतिनिधियों और प्रशासनिक अफसरों के साथ बाढ़ के मद्देनजर महत्वपूर्ण बैठक की। सीएम योगी ने बाढ़ प्रभावितों की मदद में किसी भी प्रकार की कोताही ना बरते जाने के लिए निर्देशित किया। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि राहत शिविर में रह रहे लोगों को किसी भी तरह से कोई समस्या नहीं होनी चाहिए। उनके रहन-सहन और खानपान की व्यवस्था सुनिश्चित होनी चाहिए। सुबह नाश्ता, लंच और डिनर की व्यवस्था दुरुस्त रखी जाए। बच्चों को भी नियमित रूप से ब्रेड, दूध, बिस्किट मिले। जरूरत पर इलाज भी किया जाए। सीएम ने राहत शिविरों में रह रहे लोगों को 10 किलो आलू, 10 किलो आटा, 10 किलो चावल, 2 किलो अरहर दाल, 1 किलो नमक, हल्दी, धनिया, दूध, रिफाइंड तेल, चना, गुड़, माचिस, बिस्किट आदि तथा महिलाओं के लिए डिग्निटी किट वितरित करने के लिए अधिकारियों को निर्देशित किया।
एंटी वेनम, एंटी रेबीज इंजेक्शनों की हो पर्याप्त व्यवस्था
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों के साथ बैठक कर बाढ़ राहत कार्य युद्ध स्तर पर चलाए जाने का निर्देश दिया। कहा कि मोबाइल चिकित्सा दल बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में पूरी तरह एक्टिव और राउंड पर रहे। उन्होंने कहा कि राहत शिविरों में डॉक्टरों और मोबाइल मेडिकल टीम के पास हर हाल में एंटी वेनम, एंटी रेबीज और हर तरह के विषैले जानवरों के काटने से बचाने वाला इंजेक्शन हो। वहीं स्थानीय नेताओं को प्रशासन के काम में सहयोग देने की भी बात कही है। मुख्यमंत्री ने पुलिस के अधिकारियों से कहा कि बाढ़ प्रभावित और बाढ़ राहत शिविरों में पुलिस की पेट्रोलिंग बढ़ाई जाए। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में बीमारी से यदि पशु हानि होती है, तो पशुपालक को आर्थिक सहायता उपलब्ध कराई जाए। राहत शिविरों में समुचित सफाई और लाइटिंग हो।
ना फैलने पाए संक्रामक बीमारियां
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि बाढ़ का पानी उतरने के बाद प्रभावित क्षेत्रों में युद्ध स्तर पर अभियान चलाकर सफाई कराई जाए। इससे इन क्षेत्रों में संक्रामक बीमारी फैलने न पाए। उन्होंने बाढ़ के कारण क्षतिग्रस्त होने वाले सड़कों और गलियों की भी शीघ्र मरम्मत कराए जाने का निर्देश दिया।
इस दौरान प्रदेश के जलशक्ति मंत्री स्वतंत्रदेव सिंह, देवबंद से विधायक एवं मंत्री कुंवर बृजेश सिंह, विधायक कीरत सिंह के अलावा जिलाधिकारी डॉक्टर दिनेश चंद्र, एसएसपी विपिन ताडा और जिले के अन्य प्रशासनिक अधिकारी मौजूद रहे।