लकड़ी पर नक्काशी करना बेहद जटिल काम है लेकिन कश्मीर के मास्टर कारीगर गुलाम नबी जरगर के लिए यह जादू की छड़ी घुमाने जैसा आसान है। हम आपको बता दें कि गुलाम नबी जरगर खासतौर पर अखरोट की लकड़ी पर कारीगरी के लिए विख्यात हैं। अखरोट की लकड़ी पर पवित्र अमरनाथ यात्रा और डल झील की उनकी नक्काशी देखते ही बनती है। लकड़ी पर नक्काशी की कला को जीवंत बनाने के लिए अपना जीवन समर्पित कर चुके गुलाम नबी जरगर ने प्रभासाक्षी से खास बातचीत में बताया कि उनकी कला को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर खूब सराहना मिली है।
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उन्होंने बताया कि कैसे इस कला को आगे बढ़ाने के लिए उन्होंने तमाम कठिनाइयों को झेला। उन्होंने यह भी बताया कि कैसे उनके मन में अखरोट की लकड़ी पर अमरनाथ यात्रा और डल झील की तस्वीर उकेरने की बात आई। उन्होंने कहा कि अखरोट की लकड़ी से बनी मेज पर डल झील को उकेरने में मुझे तीन साल लग गये और अमरनाथ यात्रा की कहानी को उकेरने पर चार महीने लग गये।