Breaking News

Kartavyapath : स्टार्टअप्स की दुनिया में भारत ने किया धमाल, पीएम मोदी के नेतृत्व में बना अग्रणी

भारत एक ऐसा देश है जहां नया करने की, नए विचारों से समस्याओं के समाधान खोज निकालने की ललक हमेशा रही है। इतिहास उठाकर देखें तो ऐसे कई उदाहरण मिल जाएंगे, मगर वर्ष 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश को ऐसा माहौल और स्पष्ट नीति मिली जिससे समस्याओं के नए और इनोवेटिव समाधान जमीन पर उतरने में सक्षम हुए। वर्ष 2014 में ऐसा माहौल बना कि देश में नई प्रयोगों और मजबूत स्टार्टअप इकोसिस्टम के निर्माण की शुरुआत हुई। वर्ष 2016 में 16 जनवरी को स्टार्टअप इंडिया की शुरुआत की गई। स्टार्टअप इंडिया कार्यक्रम का काल खंड महज सात वर्षों के छोटे से इतिहास का ही साक्षी है। मगर इन सात वर्षों में स्टार्टअप की पूरी कहानी में बदलाव आ चुका है।

‘भारत के लिए इनोवेशन’ और ‘भारत से इनोवेशन’ का मंत्र लेकर स्टार्टअप नए भारत के आधार स्तंभ बन रहे हैं। यही इनोवेशन और स्टार्टअप दुनिया भर में नेतृत्व भी करने में सक्षम है। आलम ये है कि स्टार्टअप की बढ़ती हुई ताकत को देखते हुए खुद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 16 जनवरी को राष्ट्रीय स्टार्टअप दिवस मनाने की घोषणा की। इस राष्ट्रीय स्टार्टअप दिवस मनाने का उद्देश्य है कि स्टार्टअप में बढ़ती ताकत और कार्य संस्कृति को देश के हर हिस्से तक पहुंचाया जाए। वर्ष 2023 में भारत ने दूसरी बार राष्ट्रीय स्टार्टअप दिवस मनाया है।

जानकारी के मुताबिक वर्ष 2014 में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पहली बार सरकार ने काम शुरू किया था तब देश में स्टार्ट्अप्स की संख्या 500 से भी कम थी। मगर आज के समय में भारत दुनिया में तीसरा सबसे बड़ा स्टार्टअप इकोसिस्टम बनकर उभरा है। देश के 656 जिलों में मान्यता प्राप्त 86 हजार से अधिक स्टार्टअप मौजूद है। इन मान्यता प्राप्त कुल स्टार्टअप की वैल्यू 330 अरब से भी अधिक है। भारत में स्टार्टअप काफी सफल हुए है। इसका सीधा उदाहरण देखने को मिला है कि यहां हर आठ से 10 दिनों के भीतर एक स्टार्ट अप यूनिकॉर्न में तब्दील होता है। भारत देश में कुल 105 से अधिक स्टार्टअप यूनिकॉर्न बन चुके है। ये कहना गलत नहीं होगा कि डिजिटल क्रांति और नए युग के नए विचारों को अहमियत देने वाले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्टार्ट अप्स को भी सबसे अधिक प्राथमिकता देते है।

यही वजह है कि भारत की अध्यक्षता वाले जी-20 शिखर सम्मेलन में भारतीय स्टार्टअप को अंतरराष्ट्रीय मंच देने के लिए एक सहभागी समूह स्टार्टअप20 गठित किया है। भारत के स्टार्टअप को दुनिया भविष्य के तौर पर देख रही है। देश में पहली बार इसरो द्वारा सफलता पूर्वक निजी रॉकेट लॉन्च किया जाना भारत में स्टार्टअप की उदार नीति का प्रमाण है। भारत एक ऐसा स्टार्टअप इकोसिस्टम बनाने का प्रयास कर रहा है जिसका आधर स्तंभ-ऑफ द यथू, बाई द यथू, फॉर द यथू का मंत्र हो। स्टार्टअप इंडिया अभियान के जरिये युवाओं ने मजबूत नींव तैयार की है। भारत की ग्रोथ स्टोरी, भारत की सक्सेस स्टोरी अब अमृत काल में एक नई ऊर्जा के साथ आगे बढ़ेगी। अमृतकाल में विकसित भारत की मजबूत नींव पर हम जो भी करेंगे, उससे नए भारत का भविष्य तय होगा, देश की दिशा तय होगी। भारत की स्टार्टअप क्रांति इस अमृतकाल की बहत महत्वपूर्ण पहचान बनेगी।

सिर्फ यही नहीं भारत सरकार ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में स्टार्टअप्स के लिए कई सुधार भी किए है। इसमें स्टार्टअप की राह आसान करने के लिए सरकार कई फ्रंट पर काम कर रही है। हैकाथॉन और चैलेंज का आयोजन, कर छूट देने से लेकर कई तरह के इनसेंटिव देने और ट्रेड मार्क, पेटेंट रजिस्ट्रेशन में सहायता सहित कई सुधार पर लगातार काम जारी है। अंतरिक्ष क्षेत्र में मैपिंग, ड्रोन क्षेत्र में सुधार किए हैं जिससे अनेक क्षेत्रों में अवसर खुले हैं।

–  ईज ऑफ डूइंग बिजनेस को बढ़ाने के लिए 2016 से सरकार ने 52 विनियामक सुधार किए।

– बौद्धिक संपदा संरक्षण के लिए सहायता देने के उद्देश्य से सरकार स्टार्टअप को पेटेंट फाइल करने में 80% और व्यापार चिन्ह फाइल करने में 50% की छूट देती है।

– आयकर में छूट का प्रावधान भी सरकार की तरफ से दिया जाता है। इसका लाभ 1 अप्रैल, 2016 या उसके बाद शुरू हुए स्टार्टअप को मिलता है जिसके जरिए उन्हें 3 वर्षों के लिए आयकर में छूट दी जाती है।

– स्टार्टअप इंडिया हब के तहत स्टार्टअप इंडिया ऑनलाइन हब में निवेशक, फंड, इंक्यूबेटर, कारपोरेट और सरकारी निकाय एक ही जगह उपलब्ध हैं।

– क्रेडिट गारंटी स्कीम की भी शुरुआत की गई है। स्टार्टअप को क्रेडिट गारंटी देने वाली स्कीम में एक निर्धारित राशि तक मान्यता प्राप्त स्टार्टअप को लोन की गारंटी दी जाती है।

– स्टार्टअप इंडिया आगे की राह योजना भी सरकार ने शुरू की है। इस योजना की शुरुआत 16 जनवरी, 2021 से हुई है जिसमें विभिन्न सुधारों को लागू करने में प्रौद्योगिकी की बड़ी भूमिका और डिजिटल आत्मनिर्भर भारत को सक्षम बनाना शामिल है।

– Government e Marketplace पर विशेष प्रावधान की शुरुआत करना। स्टार्टअप को बाजार देने के लिए भारत सरकार ने अपने Government e Marketplace पोर्टल पर कई ऐसी सुविधाएं दी है जिससे स्टार्टअप्स को बढ़ावा मिले। इन सुविधाओं और विशेष प्रावधानों की बदौलत अभी 15 हजार से अधिक स्टार्टअप पोर्टल पर आए।

– स्टार्टअप इंडिया सीड फंड स्कीम भी भारत सरकार की एक पहल है। इसके तहत वर्ष 2021-2022 से 4 वर्ष के लिए 945 करोड़ रुपये के कॉर्पस फंड के साथ योजना शुरू हुई है। स्कीम की जानकारी www.startupindia.gov.in पोर्टल पर ले सकते हैं।

– स्टार्टअप के लिए निधियों का कोष योजना की शुरुआत की गई है। इस योजना के जरिए स्टार्टअप की निधियों की हर स्तर पर जरूरत को पूरा करने के लिए 10 हजार करोड़ रुपये के साथ कोष शुरू किया गया है।

 केंद्र सरकार के प्रयासों से सिर्फ स्टार्टअप्स की दुनिया में भारत शीर्ष में शामिल नहीं हुआ है बल्कि स्टार्टअप में करीब 9 लाख नौकरियां सृजित हुई है। भारत में 86 हजार से अधिक स्टार्टअप की बदौलत देश भर के विभिन्न इलाकों में 8.6 लाख से अधिक प्रत्यक्ष नौकरियों का सृजन हुआ है।

केंद्र सरकार सिर्फ स्टार्टअप्स को सपोर्ट ही नहीं कर रही बल्कि उन्हें आने वाले भविष्य के लिए तैयार भी कर रही है। देश के टियर-2 और टियर-3 शहरों के स्टार्टअप सहित सभी स्टार्टअप को मजबूती देने के लिए डिजिटल इंडिया जेनेसिस की शुरुआत की गई है। ये जेनेसिस स्टार्टअप की अगली पीढ़ी को भी सपोर्ट देगा। यह एक हाई इंपैक्ट डिजिटल ड्राइवेन नेशनल प्लेटफॉर्म है। जो स्टार्टअप को इंक्यूबेशन, मेंटरशिप, मार्केट एक्सेस के साथ-साथ सीड फंडिंग की सुविधा को उपलब्ध कराएगा।

जानिए क्या कहा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने
भारत व्यापक रचनात्मक भावना से लैस एक युवा राष्ट्र है। हम दुनिया के शीर्ष स्टार्टअप केंद्रों में शामिल हैं। स्टार्टअप की भावना हमारे देश को बाकी दुनिया से अलग करती है। हजारों युवा नए स्टार्टअप और यूनिकॉर्न के साथ भारत की प्रतिभा का डंका बजा रहे हैं।

Loading

Back
Messenger