आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री वाईएस जगन मोहन रेड्डी ने केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा मौजूदा कृष्णा जल विवाद न्यायाधिकरण II (KWDT-II) के संदर्भ की शर्तें जारी करने के मद्देनजर सोमवार को कृष्णा नदी जल मुद्दे पर एक उच्च स्तरीय बैठक की अध्यक्षता की। राज्य सरकार ने बिरजेश कुमार ट्रिब्यूनल के निर्देशों को शामिल करते हुए गजट जारी होने के मद्देनजर सुप्रीम कोर्ट जाने का फैसला किया है।
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एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि मुख्यमंत्री ने सिंचाई अधिकारियों और कानूनी विशेषज्ञों के साथ विचार-विमर्श किया और कृष्णा नदी के पानी की पूर्व वितरण योजना पर विस्तार से विचार-विमर्श किया। आंध्र प्रदेश सरकार ने संदर्भ की शर्तें जारी करने और राजपत्र जारी करने के नवीनतम घटनाक्रम को राज्य के लिए हानिकारक बताते हुए इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट में एक विशेष अनुमति याचिका दायर करने का फैसला किया है। अधिकारियों ने इस बात पर प्रकाश डाला कि आंध्र प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम यह कहता है कि कृष्णा नदी के जल बंटवारे को राज्य के विभाजन से पहले लागू की गई वितरण योजना का पालन करना चाहिए।
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मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को पत्र लिखने सहित बिना समझौता किए राज्य के हितों की रक्षा की दिशा में काम करने का निर्देश दिया।