Breaking News

विदेश मंत्री S Jaishankar से मिले तरुण विजय, प्राचीन बौद्ध धरोहर से क्षेत्रीय सामंजस्य पर की चर्चा

आज नयी दिल्ली में पूर्व सांसद और उत्तराखण्ड के प्रथम युद्ध स्मारक के संस्थापक अध्यक्ष तरुण विजय ने भारत के विदेश मंत्री डॉ जयशंकर से भेंट कर प्राचीन धरोहर के धागों द्वारा क्षेत्रीय सामंजस्य पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि भारत में प्राथमिक कक्षाओं से चीन के यात्रियों श्यूएँ शान ( ह्यूएँ शान) तथा फाह्यँ पर पाठ पढ़ाए जाते हैं। लेकिन पूरे देश में एक पाठ भी भारत के उन महान बौद्ध संतों पर नहीं है जिन्होंने चीन को बौद्ध बनाया तथा उनको भारत से जोड़ा।
 

इसे भी पढ़ें: Meri Kahani Meri Zubani कार्यक्रम के दौरान महिला का आत्मविश्वास देख गदगद हुए PM Modi

उल्लेखनीय है भारत सरकार के सैन्य विचार केंद्र ( थिंक टैंक) यूनाइटेड सर्विसेज़ इंस्टिट्यूट ने श्री तरुण विजय को उनके चीन पर भारतीय सभ्यता के प्रभाव शीर्षक अनुसंधान पर विदेश मंत्रालय की सीट ऑफ़ एक्सीलेंस प्रदान की है। उन्होंने कहा उत्तराखण्ड प्राचीन धरोहर रक्षा में पूरे देश में सबसे पीछे है। यहाँ तीसरी शताब्दी के अश्वमेध यज्ञ क्षेत्र, देहरादून में, जो राष्ट्रीय स्मारक घोषित है, तक जाने का मार्ग भी नहीं बना है।

Loading

Back
Messenger