भारत के प्रधान मंत्री की यूक्रेन यात्रा पर भारत-यूक्रेन संयुक्त वक्तव्य जारी किया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की के निमंत्रण पर 23 अगस्त 2024 को यूक्रेन की यात्रा की। प्रधान मंत्री मोदी और राष्ट्रपति ज़ेलेंस्की ने संयुक्त राष्ट्र चार्टर सहित क्षेत्रीय अखंडता और राज्यों की संप्रभुता के सम्मान जैसे अंतरराष्ट्रीय कानून के सिद्धांतों को बनाए रखने में आगे सहयोग के लिए अपनी तत्परता दोहराई। वे इस संबंध में करीबी द्विपक्षीय बातचीत की वांछनीयता पर सहमत हुए। भारतीय पक्ष ने अपनी सैद्धांतिक स्थिति दोहराई और बातचीत और कूटनीति के माध्यम से शांतिपूर्ण समाधान पर ध्यान केंद्रित किया, जिसके एक भाग के रूप में भारत ने जून 2024 में स्विट्जरलैंड के बर्गेनस्टॉक में आयोजित यूक्रेन में शांति शिखर सम्मेलन में भाग लिया।
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जेलेंस्की से मुलाकात के वक्त प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि जब युद्ध के शुरुआती दिन थे तो आपने भारतीय नागरिकों और छात्रों को निकालने में मदद की। संकट के इस समय में आपकी मदद के लिए मैं आपका आभार व्यक्त करता हूं… दुनिया यह अच्छी तरह से जानती है कि इस दौरान युद्ध में हमने दो भूमिकाएँ निभाईं…पहली भूमिका थी मानवीय दृष्टिकोण की…मैं आपको विश्वास दिलाता हूँ कि मानवीय दृष्टिकोण से चाहे जो भी आवश्यकता हो, भारत हमेशा आपके साथ खड़ा रहेगा और दो कदम आगे रहेगा।
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ज़ेलेंस्की से बातचीत के दौरान पीएम मोदी ने साफ किया कि भारत ने युद्ध में कभी भी तटस्थ रुख नहीं अपनाया है, बल्कि वह हमेशा शांति का पक्षधर रहा है। पीएम मोदी ने संघर्ष को सुलझाने के लिए बातचीत और कूटनीति की वकालत करने के भारत के लगातार प्रयासों पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारत इस युद्ध में कभी भी तटस्थ नहीं था, हम शांति के पक्ष में हैं।