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Sheikh Hasina की बेटी को कौन रोक रहा है अपनी मां से मिलने से? क्या भारत की तरफ से है कोई पाबंदी या मामला ही कुछ और है

बांग्लादेश में 5 अगस्त को हुए हिंसा और पीएम आवास गण भवन की ओऱ बढ़ती भीड़ के बाद सेना से मिले 45 मिनट के वक्त के बीच शेख हसीना ने अपने पद से इस्तीफा देते हुए ढाका छोड़ दिया। उन्होंने शरण के लिए भारत को चुना और गाजियाबाद का हिंडन एयरबेस उनका नया ठिकाना बना है। शेख हसीना की अनिश्चितता को लेकर उनका परिवार भी टेंशन में नजर आ रहा है। दिल्ली में रह रही उनकी बेटी बांग्लादेश में हुई हिंसा और मां के देश छोड़ने पर अफसोस जाहिर किया है। बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की बेटी साइमा वाजिद ने कहा कि वह अपने देश में लोगों की जान जाने से,साथ ही ऐसे कठिन समय में अपनी मां को देख नहीं पाने से, उन्हें गले नहीं लगा पाने से बेहद दुखी हैं। बांग्लादेश में छात्रों के सरकार विरोधी-प्रदर्शनों के कारण हसीना ने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया और देश छोड़ने के बाद भारत में शरण ली। 

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भारत के विदेश मंत्रालय के सूत्रों की मानें तो भारत की तरफ से ऐसी कोई पाबंदी नहीं लगाई गई है। विदेश मंत्रालय के सूत्रों ने ऑफ द रिकॉर्ड कहा कि हमारी तरफ से कोई रोक नहीं लगाई गई है। अब बेटी सोशल मीडिया के जरिए अफसोस जता रही है। लेकिन क्या मां उनसे मिलना चाहती है? बता दें कि शेख हसीना की बेटी ने सोशल मीडिया मंच एक्स पर एक पोस्ट में कहा, जिस बांग्लादेश से मैं प्यार करती हूं वहां लोगों की जान जाने से मेरा दिल टूट गया है। इस कठिन समय में अपनी मां को देख नहीं सकती, उन्हें गले नहीं लगा सकती। इस बात से मैं बेहद दुखी हूं। मैं आरडी के तौर पर अपनी भूमिका निभाती रहूंगी। वाजिद दक्षिण-पूर्व एशिया के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन की क्षेत्रीय निदेशक हैं। बांग्लादेश विवादास्पद आरक्षण प्रणाली के खिलाफ कई हफ्तों से जारी हिंसक प्रदर्शनों के बीच, पिछले 15 साल से सत्ता में रहीं शेख हसीना के प्रधानमंत्री पद से अचानक इस्तीफा देने और देश छोड़कर चले जाने के कारण अभूतपूर्व राजनीतिक संकट से जूझ रहा है। बांग्लादेश के राष्ट्रपति मोहम्मद शहाबुद्दीन ने मंगलवार को संसद भंग की दी और नोबेल पुरस्कार विजेता मोहम्मद यूनुस को अंतरिम सरकार का प्रमुख नियुक्त किया।

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नोबेल पुरस्कार से सम्मानित अर्थशास्त्री मोहम्मद यूनुस बृहस्पतिवार को बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के प्रमुख के तौर पर शपथ लेंगे। इससे पहले बुधवार को उन्होंने सभी से “शांति कायम करने” और “हर प्रकार की हिंसा से बचने” की अपील की। वहीं दूसरी ओर प्राधिकारी कानून-व्यवस्था पर नियंत्रण करने में जुटे हैं। शेख हसीना के अपदस्थ होने के बाद देश के सुरक्षा महकमे में बड़ा फेरबदल किया गया है। सेना प्रमुख जनरल वकार-उज-जमां ने बुधवार को घोषणा की कि अंतरिम सरकार बृहस्पतिवार को रात करीब आठ बजे शपथ लेगी।

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